हरियाणा सहित दिल्ली, पंजाब में 25 फरवरी को कई हिस्सों में ओलावृष्टि, बारिश और गरज के साथ बौछारें हुईं। तीव्रता हालांकि 26 फरवरी को कम हो गई, लेकिन हरियाणा, पंजाब दिल्ली और उत्तर प्रदेश के पश्चिमी हिस्सों में गरज के साथ छींटे पड़े। अब हवाओं ने दिशा बदल ली है और उत्तर पश्चिम से चल रही है। हम उत्तर पश्चिम भारत में न्यूनतम तापमान में 2-3 डिग्री की गिरावट की उम्मीद करते हैं, जिससे सुबह और रात के समय सर्दियां बढ़ सकती हैं। दिन के तापमान में धीरे-धीरे वृद्धि होने की संभावना है। हालांकि, लगातार पश्चिमी विक्षोभ मार्च के पहले सप्ताह के दौरान पश्चिमी हिमालय तक पहुंचना जारी रख सकते हैं।
उत्तरी मैदानी इलाकों पर उनका प्रभाव कम होगा, लेकिन 2 मार्च को पंजाब, हरियाणा, उत्तरी राजस्थान और दिल्ली के कुछ हिस्सों में छिटपुट बारिश की संभावना है। ये बारिश की गतिविधियां कम अवधि के लिए होंगी और इसके साथ तेज हवाएं या ओलावृष्टि की उम्मीद नहीं है जो हमने 25 फरवरी को देखी है, इसलिए फसल को नुकसान की संभावना बहुत कम है। केंद्रीय मृदा लवणता अनुसंधान संस्थान के मुताबिक दो मार्च को पंजाब, हरियाणा, दिल्ली और उत्तरी राजस्थान के कुछ हिस्सों में हल्की बरसात हो सकती है।
मार्च के दूसरे सप्ताह में तेजी से बढ़ेगा तापमान
मौसम विभाग का मानना है कि मार्च माह के दूसरे सप्ताह में तापमान तेजी से बढ़ सकता है। हालांकि इससे फसल को कोई नुकसान भी नहीं होगा, क्योंकि गेहूं की फसल विशेषकर पकने का समय होता है, इसलिए यह समय तापमान बढ़ने से अच्छा ही साबित हो सकता है।
देशभर में यह बना हुआ है मौसमी सिस्टम
केंद्रीय मृदा लवणता अनुसंधान संस्थान के मुताबिक इस समय ताजा पश्चिमी विक्षोभ के 28 फरवरी से पश्चिमी हिमालय को प्रभावित करने की संभावना है। एक चक्रवाती हवाओं का क्षेत्र बिहार और आसपास के इलाकों पर बना हुआ है। एक अन्य चक्रवाती हवाओं का क्षेत्र दक्षिण अंडमान सागर और आसपास के क्षेत्रों पर बना हुआ है। अगले 24 घंटों में इसी क्षेत्र में कम दबाव का क्षेत्र बनने की संभावना है।
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