चंडीगढ़। हरियाणा के मुख्य सचिव संजीव कौशल ( Chief Secretary Sanjeev Kaushal ) ने सभी जिलों के उपायुक्तों व अन्य अधिकारियों को निर्देश दिए कि वे 24 अप्रैल 2022 तक स्वामित्व योजना के तहत ग्रामीणों को प्रॉपर्टी आई-कार्ड वितरित कर दें ताकि हरियाणा देश का पहला 'लाल डोरा मुक्त' राज्य बन सके। उन्होंने गांवों के लोगों के प्रोपर्टी को लेकर चले आ रहे आपसी विवादों का भी यथाशीघ्र समाधान करने के निर्देश दिए। मुख्य सचिव स्वामित्व योजना की समीक्षा कर रहे थे। इस अवसर पर हरियाणा के राजस्व एवं आपदा प्रबंधन विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव श्री पी.के दास, लैंड रिकार्ड विभाग की निदेशक आमना तस्नीम समेत कई अधिकारी बैठक में उपस्थित थे। इनके अलावा, सभी जिलों के उपायुक्त व स्वामित्व योजना से संबंधित वरिष्ठï अधिकारी ऑनलाइन वीडियो कान्फ्रैंसिंग के माध्यम से इस बैठक में जुड़े हुए थे।
मुख्य सचिव ने बैठक में सभी जिलों में स्वामित्व योजना के क्रियान्वयन में आ रही अड़चनों से संबंधित अधिकारियों से फीडबैक ली और उन्होंने निर्धारित अवधि में इनको दूर करने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि इस कार्य में ढि़लाई कतई बर्दाश्त नहीं की जाएगी। उन्होंने सभी जिला राजस्व अधिकारियों को अपना-अपना डाटा पोर्टल पर अप-टू-डेट रखने के निर्देश देते हुए कहा कि जिला उपायुक्त भी इस मामले में समय-समय पर समीक्षा करते रहें। संजीव कौशल ने जिला उपायुक्तों को यह भी निर्देश दिए कि वे अपने-अपने जिला के सभी गांवों में 24 अप्रैल 2022 तक प्रोपर्टी आई-कार्ड वितरित करवाना सुनिश्चित कर दें ताकि हमारे राज्य को देश का पहला 'लाल डोरा मुक्त' प्रदेश होने का खिताब मिल सके। वितरित किए जाने वाले कार्डों का एक रजिस्टर में लेखा-जोखा दर्ज करने के भी निर्देश दिए। उन्होंने स्कूल, धर्मशाला, पंचायत घर, सरकारी अस्पताल आदि राजकीय भवनों व पंचायती स्थानों की प्रोपर्टी आईडी बनवाने तथा गांव के प्रोपर्टी से जुड़े आपसी विवादों का भी परस्पर सुलह कर निपटारा करने के निर्देश दिए।
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